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Pratham Pranam| प्रथम प्रणाम | gskidiary |
प्रथम प्रणाम
माँ गौरी के दुलारे, महादेव के हैं नंदन।
मेरा प्रथम प्रणाम तुम्हें, स्वीकार करो मेरा अभिनंदन ।।
एकदन्त गजानन तुम हो, रिद्धि-सिद्धि के दायक
बालरूप से ही प्रथम पूज्य, तुम सबके हो नायक
मनोकामना पूरी करते, सुखकर्ता दुःखहर्ता
विघ्नविनाशक मंगलकारक, तुम तो हो विघ्नहर्ता
सारा जग करता है देवा , तेरा ही तो वन्दन
मेरा प्रथम प्रणाम तुम्हें, स्वीकार करो अभिनंदन ।
मोदक तुमको प्रिय, मूसक है तेरी सवारी
बालक वृद्ध ध्यान करें, गुणगान करें नर-नारी
तन छोड़े प्राण मेरा, उससे पहले दर्शन देना
रहे शुद्ध ज्ञान,बुद्धि और मन, प्रभु मार्गदर्शन देना
रहे मानवता सदा हृदय, उचित हो मेरा आत्ममंथन
मेरा प्रथम प्रणाम तुम्हें, स्वीकार करो अभिनंदन ।।
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