था इश्क़ किया मैंने | Tha ishq kiya maine |
ज़िन्दगी में शायद सब कुछ किया मैंने
जिंदगी से ज़्यादा शायद जिया मैंने
जो नहीं करना था वो गुनाह किया मैंने
दोस्तों! था इश्क़ किया मैंने..
मेरी मासूमियत उसके आगे बलिदान हो गयी
मेरा जुनून मेरी आवाज सब बेजान हो गयी
गिला बस इतना था उसे मेरे ताल्लुक से
कि मुझे बोलना नहीं आया और वो महान हो गई
बस कुछ ऐसा ही एक रिश्ता जिया मैंने
दोस्तों! था इश्क़ किया मैंने...
सच में जो दिखा वही बिका बाकी सब लगे बेकार
घाटे में रहा मेरा ये इश्क़ का कारोबार
बिन बोले जो समझे तुमको वो ही दिल का मीत
बाकी सारी दुनिया रखे सिर्फ मतलब की प्रीत
टूट गया गुरु जब तो जान लिया मैंने
दोस्तों! था इश्क़ किया मैंने...
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